Alerts: अगर आप सेकेंड हैंड मोबाइल खरीदते हैं तो जाना पड़ सकता है जेल!

नई दिल्ली: राजधानी दिल्ली में सड़क पर सस्ते दाम पर स्मार्ट फोन मिल जाये तो हर कोई इसे खरीदना चाहेगा, लेकिन सस्ते मोबाइल का यह लालच आपको जेल की हवा खिला सकता है। ऐसे कई गैंग हैं जो सड़क चलते इस तरह से चोरी के मोबाइल बेच रहे हैं। मेट्रो के डीसीपी जितेंद्र मणि ने लोगों से अपील की है कि वह पुराना मोबाइल खरीदने से पहले दिल्ली पुलिस की वेबसाइट पर जाकर इसकी जांच कर लें। जिपनेट (zipnet.delhipolice.gov.in) में आपको पता चलेगा कि यह मोबाइल चोरी का है या नहीं।

डीसीपी में बताया कि चोरी का मोबाइल या कोई अन्य सामान आपके पास से बरामद होता है तो वह आईपीसी की धारा 411 के तहत अपराध की श्रेणी में आता है और इसके लिए आपको गिरफ्तार किया जा सकता है। उन्होंने आगे बताया कि कोई भी पुराना मोबाइल या गाड़ी खरीदते समय लोगों को सावधानी बरतनी चाहिए। उन्हें इस बात की जांच कर लेनी चाहिए कि कहीं उन्हें जो मोबाइल या गाड़ी बेची जा रही है, वह चोरी की तो नहीं है। इसके लिए सबसे आसान तरीका है कि वह दिल्ली पुलिस की वेबसाइट पर जिपनेट में जाकर इसकी जांच करें।
यहां पर चोरी हुए मोबाइल के आईएमईआई नंबर होते हैं। इसी तरह से चोरी हुई गाड़ी के इंजन और चेचिस नम्बर भी जिपनेट पर अपलोड होते हैं। जिपनेट पर जाकर आप पुराने मोबाइल की आईएमईआई नंबर डालकर यह देख सकते हैं कि वह चोरी का मोबाइल तो नहीं है। इसी तरह पुरानी गाड़ी का नंबर डालकर भी आप जिपनेट से उसकी जांच कर सकते हैं।
डीसीपी के अनुसार, इस तरह के मोबाइल में जब आप सिम कार्ड डालते हैं तो टेक्निकल सर्विलांस से पुलिस आप तक पहुंच जाती है। इस मामले में आपकी गिरफ्तारी कर आपको जेल भेजा जा सकता है। इसके लिए आप पर केस चलेगा जिसमें कोर्ट आपको सजा भी सुना सकती है।