पूर्व विधायक सूर्य सिंह बेसरा ने हेमंत सरकार की स्थानीय नीति पर उठाया सवाल, बतायी खामियां

पूर्व विधायक सूर्य सिंह बेसरा ने हेमंत सरकार की स्थानीय नीति पर उठाया सवाल, बतायी खामियां

दुमका : पूर्व विधायक एवं झारखंड रत्न सूर्य सिंह बेसरा ने झारखंड सरकार की नई स्थानीय नीति पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। उन्होंने एक प्रेस बयान जारी कर कहा है कि 1932 की खतियान का आधार मानक नहीं हो सकता है। विधेयक में 1935, 1938, 1964 1977, 1981 एवं 1994 नहीं जोड़ा गया है। स्थानीय नीति और आरक्षण नीति को 9वीं सूची में शामिल करना है। यह केंद्र सरकार के पाले में बॉल फेंक देने के बराबर है। उन्होंने कहा है कि लोक नियोजन विषय पर स्थानीय नीति परिभाषित करने का संविधान के तहत केवल संसद को ही अधिकार है। स्थानीयता में अधिवास शब्दों का प्रयोग किया गया है, जो भारतीय नागरिकता के बारे में प्रावधान है, जो सुप्रीम कोर्ट के जजमेंट का प्रतिकूल है।

संविधान के अनुच्छेद.371डी आंध्र प्रदेश के संबंध में विशेष उपबंध के तर्ज पर झारखंड की स्थानीय नीति नहीं है। झारखंड राज्य निर्माताओं में से एक ऑल झारखंड स्टूडेंट्स यूनियन, आजसू के संस्थापक सह. झारखंड राज्य की मांग पर बिहार विधानसभा की सदस्यता से त्यागपत्र देने वाले एकमात्र पूर्व विधायक सूर्य सिंह बेसरा ने दिल्ली प्रवास पर शनिवार को एक प्रेस विज्ञप्ति जारी कर झारखंड सरकार द्वारा विधानसभा के विशेष सत्र में स्थानीयता नीति परिभाषित करने के लिए विधेयक पारित किए जाने पर कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा है कि केवल 1932 के आधार पर स्थानीय व्यक्ति को परिभाषित करना सर्वमान्य नहीं हो सकता है, क्योंकि झारखंड राज्य के अंतर्गत 1932 के पहले तथा 1932 के पश्चात विभिन्न समय में अलग.अलग जिले में अंतिम सर्वे सेटेलमेंट हुआ है। उदाहरण के लिए अविभाजित सिंहभूम में 1964 में अंतिम सर्वे सेटेलमेंट हुआ है। इसी तरह 1935, 1938, 1977, 1981 एवं 1994 में अंतिम सर्वे सेटेलमेंट हुआ है।

सूर्य सिंह बेसरा ने अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा है कि संविधान के अनुच्छेद -16(3)डी के तहत लोक नियोजन विषय पर स्थानीय नीति निर्धारित करने का अधिकार केवल संसद को ही है । जहां तक झारखंड की स्थानीय नीति को संविधान की नौवीं अनुसूची में शामिल करने का प्रस्ताव है तो यह तो केंद्र सरकार के पाले में बोल फेंकने की बात है। वर्तमान में केंद्र में भाजपा गठबंधन की सरकार है। प्रश्न यह उठता है क्या नरेंद्र मोदी की सरकार संसद से इस विधेयक को पारित कर संविधान की नौवीं अनुसूची में शामिल कर पाएगी। तब तक क्या झारखंड में स्थानीय नीति लागू नहीं होगी। उन्होंने अदालती फैसलों का हवाला देते हुए कहा है कि अधिवास के आधार पर स्थानीयता नीति बनाना पूर्ण रूप से असंविधानिक है।

पूर्व विधायक सूर्य सिंह बेसरा ने हेमंत सोरेन के नेतृत्व वाली झारखंड मुक्ति मोर्चा, कांग्रेस एवं राजद गठबंधन की सरकार को अदूरदर्शी बताया है और कहा है कि जिस विधेयक को पारित कराया गया है उसमें बड़ी खामियां और त्रुटियां रह गयी हैं। इस पर पुनर्विचार कर उसे अविलंब संशोधित करना चाहिए।

यह भी पढ़ें Koderma news: ग्रिजली विद्यालय में किया गया कैरियर काँऊसलिंग का आयोजन

Edited By: Samridh Jharkhand

Latest News

Ranchi news: सीएम हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक, इन प्रस्ताओं पर लगी मुहर Ranchi news: सीएम हेमंत सोरेन की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट बैठक, इन प्रस्ताओं पर लगी मुहर
Palamu news: डायन कुप्रथा और सामाजिक अंधविश्वास के खिलाफ जागरूकता अभियान
Palamu news: महिला सशक्तिकरण और बालिका प्रशिक्षण शिविर का आयोजन 
Dhanbad news: SJAS सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल में विधायक श्रीयसी सिंह का आगमन
Koderma news: सड़क दुर्घटना में झुमरीतिलैया की एक छात्रा की मौत, दो गंभीर रूप से घायल
Ranchi news: रांची के दबंग पुलिस अधिकारी जानकी राम का निधन
विद्यार्थीयो का इस तरह के प्रतियोगिता से सर्वांगीण विकास होता है: डॉ ब्रजेश कुमार
Ranchi news: जमीन संबंधित विवाद पर अंकुश लगाने के लिए मंत्री दीपक बिरुआ का एक्शन प्लान तैयार, दिए ये निर्देश
हेमंत सरकार ने कोरोना आपदा मे लूट का अवसर ढूँढा: अमित मंडल
हेमंत सरकार में भ्रष्टाचार से आम आदमी प्रभावित, स्कूली बच्चे भी भ्रष्टाचार की चपेट में: बाबूलाल मरांडी
Koderma news: ग्रिजली विद्यालय में सड़क सुरक्षा जागरूकता अभियान आयोजित
Ranchi news: जिला शिक्षा अधीक्षक से मिले पीएम श्री अपग्रेडेड हाई स्कूल कांके कुमहरिया के अध्यक्ष