बिहार में नीतीश सरकार का अजीब फरमान, विरोध प्रदर्शन किया तो न मिलेगी सरकारी नौकरी, न ठेका-पट्टा

पटना (Patna) : बिहार की नीतीश कुमार सरकार (Nitish Kumar Government) ने एक अजीब फरमान जारी किया है, जिस पर विवाद खड़ा हो गया है। नीतीश कुमार की अगुवाई वाली बिहार सरकार ने मंगलवार को एक फरमान जारी किया, जिसमें कहा गया है कि अगर कोई व्यक्ति विरोध-प्रदर्शन या सड़क जाम करते हुए पकड़ा जाता है तो उसे सरकारी नौकरी नहीं मिलेगी और न ही सरकार से ठेका-पट्टा मिलेगा।

बिहार (Bihar) में अब सरकारी नौकरी व ठेकेदारी उसी को मिलेगी जिसके पास पुलिस (Bihar Police) द्वारा जारी किया गया चरित्र प्रमाण पत्र होगा। पुलिस रिकार्ड में जिसका नाम विरोध प्रदर्शन करने वालों की सूची में या सड़क जाम करने वालों की सूची में दर्ज होगा वे सरकारी नौकरी व ठेकेदारी दोनों से वंचित रहेंगे। दरअसल, बिहार के डीजीपी ने इस संबंध में निर्देश जारी किया है। मालूम कि गृह विभाग बिहार में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के पास ही है और यह सीधे तौर पर उनके विभाग से जुड़ा हुआ फैसला है।
डीजीपी द्वारा जारी निर्देश में लिखा हुआ है कि अगर कोई व्यक्ति विधि व्यवस्था की स्थिति, विरोध प्रदर्शन, सड़क जाम आदि मामलों में संलिप्त होकर आपराधिक कृत्यों में शामिल होता है तो उसे पुलिस द्वारा इस कार्य के लिए आरोप पत्रित किया जाता है, तो उनके संबंध में चरित्र सत्यापन प्रतिवेदन में विशिष्ट एवं स्पष्ट रूप से प्रविष्टि की जाए। ऐसे व्यक्तियों को गंभीर परिणामों के लिए तैयार रहना होगा, क्योंकि उन्हें सरकारी नौकरी व ठेके नहीं मिल पाएंगे।
बिहार सरकार के इस कदम पर विपक्ष के नेता तेजस्वी यादव (Tejashwi Yadav) ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है और नीतीश कुमार को 40 सीटों वाला मुख्यमंत्री बताकर कटाक्ष किया है। तेजस्वी यादव ने लिखा है – मुसोलिनी और हिटलर को चुनौती दे रहे नीतीश कुमार कहते हैं अगर किसी ने सत्ता व्यवस्था के विरुद्ध धरना प्रदर्शन कर अपने लोकतांत्रिक अधिकारों का प्रयोग किया तो आपको नौकरी नहीं मिलेगी। यानी नौकरी भी नहीं देंगे और आपको विरोध भी प्रकट नहीं करने देंगे। बेचारे 40 सीट के मुख्यमंत्री कितने डर रहे हैं। तेजस्वी यादव ने पुलिस विभाग द्वारा जारी निर्देश की काॅपी भी अपने ट्वीट में संलग्न किया है।
मुसोलिनी और हिटलर को चुनौती दे रहे नीतीश कुमार कहते है अगर किसी ने सत्ता व्यवस्था के विरुद्ध धरना-प्रदर्शन कर अपने लोकतांत्रिक अधिकार का प्रयोग किया तो आपको नौकरी नहीं मिलेगी। मतलब नौकरी भी नहीं देंगे और विरोध भी प्रकट नहीं करने देंगे
बेचारे 40सीट के मुख्यमंत्री कितने डर रहे है? pic.twitter.com/h0TDkuR5vP
— Tejashwi Yadav (@yadavtejashwi) February 2, 2021