पुतिन भारत दौरा: दिल्ली हाई अलर्ट पर, 5-लेयर सिक्योरिटी घेरा, NSG–SPG आई हरकत में
नेशनल डेस्क: रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के प्रस्तावित भारत दौरे से पहले दिल्ली पूरी तरह हाई अलर्ट मोड में आ गई है। 4 और 5 दिसंबर को होने वाले इस दौरे के लिए केंद्रिय सुरक्षा एजेंसियों और दिल्ली पुलिस ने पांच स्तरों वाली कड़ी सुरक्षा घेरा तैयार किया है, ताकि राष्ट्रपति के आगमन से लेकर वापसी तक किसी भी तरह की चूक की गुंजाइश न रहे।
दौरे की तारीखें और हाई अलर्ट

पांच लेयर की कड़ी सुरक्षा
राष्ट्रपति के विशेष विमान के दिल्ली पहुंचते ही सबसे बाहरी सुरक्षा घेरे की जिम्मेदारी एनएसजी कमांडो के हाथों में होगी, जो एयरपोर्ट और आसपास के संवेदनशील क्षेत्रों पर निगरानी रखेंगे। इसके साथ ही एसपीजी, एनएसजी, रॉ, आईबी और दिल्ली पुलिस अपनी-अपनी अलग लेयर बनाकर राष्ट्रपति के मूवमेंट, काफिले के रूट और कार्यक्रम स्थलों पर चौकस रहेंगी, जिनके पीछे ड्रोन जैमर, एआई मॉनिटरिंग सिस्टम, रूट सैनिटाइजेशन और एंटी-स्नाइपर यूनिट तैनात रहने वाली हैं।
होटल और दिल्ली में सिक्योरिटी ड्रिल
पुतिन जिस होटल में ठहरेंगे, उसे पहले ही पूरी तरह सिक्योरिटी सेनेटाइज कर लिया गया है और वहां 24x7 निगरानी की व्यवस्था के साथ रूसी डेलिगेशन के लिए अलग से सुरक्षा और कम्युनिकेशन सिस्टम सेट कर दिए गए हैं। सुरक्षा सूत्रों के मुताबिक, राष्ट्रपति के आने से पहले ही करीब 50 रूसी अधिकारी भारत पहुंच चुके हैं, जो उन सभी संभावित जगहों पर सुरक्षा ड्रिल कर रहे हैं, जहां उनके जाने का कार्यक्रम तय है या अचानक दौरा संभव हो सकता है, और इनका समन्वय केवल चुनिंदा भारतीय एजेंसियों और अफसरों के साथ किया जा रहा है।
100 स्पेशल सिक्योरिटी ऑफिसर्स और बुलेटप्रूफ कार
रिपोर्ट के अनुसार, पुतिन जब भी किसी विदेशी यात्रा पर निकलते हैं तो उनके साथ लगभग 100 विशेष सुरक्षा अधिकारी हमेशा मौजूद रहते हैं, जो उनके चारों ओर घेरा बनाकर चलते हैं और हर समय जोखिम का आकलन करते रहते हैं। उनके काफिले में रूस में निर्मित सबसे सुरक्षित वीवीआईपी कार ‘ओरस सेनात’ भी भारत लाई जा रही है, जिसे इस तरह डिजाइन किया गया है कि किसी भी तरह के हमले की स्थिति में यह अधिकतम सुरक्षा प्रदान कर सके।
अदृश्य सुरक्षा नेटवर्क और पोर्टेबल लैब
पुतिन के किसी भी देश में पहुंचने से पहले ही उनकी सुरक्षा से जुड़ी एक “अदृश्य सेना” वहां तैनात हो जाती है, जो आम लोगों और स्थानीय माहौल में घुलमिल कर संभावित खतरों पर नजर रखती है। इसके साथ ही उनके साथ एक पोर्टेबल लैब भी रहती है, जिसके माध्यम से राष्ट्रपति के खान-पान से जुड़ी हर चीज की जांच की जाती है और केवल लैब से ओके रिपोर्ट मिलने के बाद ही उन्हें कोई भोजन परोसा जाता है।
पोर्टेबल टॉयलेट और हेल्थ सीक्रेसी प्रोटोकॉल
रूसी राष्ट्रपति अपनी विदेश यात्राओं के दौरान पोर्टेबल टॉयलेट भी साथ लेकर चलते हैं, ताकि मेजबान देश में उनके शरीर से जुड़ा कोई भी वेस्ट मैटेरियल न छोड़ा जाए। सुरक्षा विशेषज्ञों के अनुसार, यह नेशनल सिक्योरिटी प्रोटोकॉल का हिस्सा है, क्योंकि राष्ट्रपति से जुड़ी किसी भी चीज की जांच करके उनकी सेहत और शारीरिक स्थिति के बारे में संवेदनशील जानकारी निकाली जा सकती है, जिसे रूस किसी भी कीमत पर लीक नहीं होने देना चाहता
समृद्ध डेस्क (Samridh Desk), समृद्ध झारखंड का आधिकारिक संपादकीय विभाग है — जो निष्पक्ष, पारदर्शी और सामाजिक जागरूक पत्रकारिता के लिए समर्पित है। हम अनुभवी संपादकों, रिपोर्टरों, डिजिटल संवाददाताओं और कंटेंट राइटर्स की टीम हैं, जो सत्य और जिम्मेदारी की भावना से समाज के मुद्दों को सामने लाने का कार्य करती है।
समृद्ध डेस्क के नाम से प्रकाशित हर लेख हमारी निष्ठा, ईमानदारी और सामाजिक उत्तरदायित्व का प्रतीक है।
हम हर खबर को तथ्यों, निष्पक्षता और जनहित के दृष्टिकोण से प्रस्तुत करते हैं — ताकि पाठकों को केवल सूचना नहीं, बल्कि सच्चाई का पूरा चित्र मिले।
