Ranchi News: डीपीएस में दो दिवसीय ह्यूमैनिटीज़ फेस्ट 'द-आरोहण' का सफल आयोजन
350 से ज़्यादा छात्रों ने मॉडल यूनाइटेड नेशंस और अन्य प्रतियोगिताओं में लिया भाग
आयोजन में छात्रों ने समाज, शासन, मीडिया और इतिहास की गहरी समझ को सृजनात्मक रूप से प्रस्तुत किया. इस प्रतियोगिता में 20 विद्यालयों के 350 से ज्यादा विद्यार्थियों ने अपनी प्रतिभागिता दर्ज कराई.
रांची: दिल्ली पब्लिक स्कूल ने दो दिवसीय ह्यूमैनिटीज़ फेस्ट 'द-आरोहण' का भव्य आयोजन किया है जिसका उद्देश्य विद्यार्थियों की बुद्धिमत्ता, रचनात्मकता और अभिव्यक्ति को उजागर करना है. इस आयोजन में छात्रों ने समाज, शासन, मीडिया और इतिहास की गहरी समझ को सृजनात्मक रूप से प्रस्तुत किया. इस प्रतियोगिता में 20 विद्यालयों के 350 से ज्यादा विद्यार्थियों ने अपनी प्रतिभागिता दर्ज कराई.

प्रतियोगिताओं का मूल्यांकन विभिन्न क्षेत्रों से आए प्रतिष्ठित विशेषज्ञों की एक विशिष्ट निर्णायक मंडली द्वारा किया गया. इस पैनल में डॉ. राणा प्रियंशु राज (रिम्स, रांची), डॉ. सायंतनी बनर्जी, डॉ. दीक्षा वर्मा और सु अदिति सिंह शर्मा (एमिटी यूनिवर्सिटी, झारखंड), ओम शरण सिंह (डिज़ाइन कंसल्टेंट), नयन शौर्य (फाइन आर्ट्स फ़ोटोग्राफ़र) और अशुतोष (सॉफ्ट स्किल्स ट्रेनर, डीपीएस रांची) शामिल थे. साथ ही, डीपीएस रांची की पूर्व छात्रा अनीशा अरोड़ा, पूर्व छात्र अंशुमन पांडे और नेशनल लॉ यूनिवर्सिटी से सार्थक कुमार ने भी निर्णायक के रूप में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाई.
यह दो दिवसीय आयोजन ज्ञानवर्धक और रचनात्मक गतिविधियों से परिपूर्ण रहा. इसका मुख्य आकर्षण था डीपीएस रांची मॉडल यूनाइटेड नेशंस, जिसमें प्रमुख समितियाँ शामिल थीं जैसे, ऑल इंडिया पॉलिटिकल पार्टीज़ मीट– एक जीवंत मंच जहाँ विद्यार्थियों ने विभिन्न राजनीतिक दलों का प्रतिनिधित्व करते हुए राष्ट्रीय मुद्दों पर गहन चर्चा की, नीतियाँ प्रस्तावित कीं और संसदीय कार्यप्रणाली को समझा. संयुक्त राष्ट्र मानवाधिकार परिषद– जिसमें प्रतिनिधियों ने शरणार्थियों के अधिकार, डिजिटल गोपनीयता और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता जैसे वैश्विक मानवाधिकारों के मुद्दों पर विचार-विमर्श कर प्रस्ताव तैयार किए. संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद – एक उच्च स्तरीय कूटनीतिक सत्र जिसमें छात्रों ने वैश्विक शांति, संघर्ष समाधान और शांति मिशनों पर चर्चा की.
मॉडल यूनाइटेड नेशन के अलावा कई अन्य प्रमुख प्रतियोगिताएं भी :द-आरोहण' का हिस्सा रहीं. ‘द फोर्थ एस्टेट – व्हेयर जनसंचार मीट्स इनोवेशन', एक मीडिया आधारित प्रतियोगिता में छात्रों ने समाचार पैकेज, पॉडकास्ट और दृश्य रिपोर्टें तैयार कीं. इसका उद्देश्य मीडिया साक्षरता, पत्रकारिता की नैतिकता और तकनीक के रचनात्मक उपयोग को प्रोत्साहित करना था वाद-विवाद प्रतियोगिता – जहाँ युवा प्रतिभाओं ने तर्क, प्रमाण और जुनून के साथ समसामयिक सामाजिक-राजनीतिक मुद्दों पर अपने विचार रखे. ‘रिहटोरिका - लेट द हिस्ट्री स्पीक अगेन’ – इतिहास को नाटकीय एकालापों, ऐतिहासिक भूमिकाओं और कथात्मक प्रस्तुतियों के माध्यम से पुनर्जीवित किया गया, जिससे छात्रों को पाठ्यपुस्तकों से इतर इतिहास को समझने का अवसर मिला.
इस अवसर पर मुख्य अतिथि सुरेंद्र कुमार झा ने कहा,“डीपीएस रांची के छात्रों की ऊर्जा और बौद्धिक चमक को देखकर मुझे अत्यंत हर्ष हो रहा है. ‘द-आरोहण’ केवल एक प्रतियोगिता नहीं, बल्कि एक ऐसा मंच है जो विश्लेषणात्मक सोच, उत्तरदायित्वपूर्ण नागरिकता और समकालीन मुद्दों के प्रति जागरूकता को बढ़ावा देता है. आज के दौर में जब शिक्षा बहुविषयक होती जा रही है, ऐसे मंच छात्रों को संवेदनशील, जागरूक और सामाजिक रूप से जिम्मेदार नागरिक बनने की दिशा में प्रेरित करते हैं. ‘द-आरोहण’ की व्यापकता, व्यावसायिकता और पूर्णतः छात्र-नेतृत्व वाली कार्यप्रणाली ने मुझे अत्यंत प्रभावित किया है. यह प्रतियोगिता यह सिद्ध करता है कि ह्यूमैनिटीज़ की शिक्षा कैसे रचनात्मक, संवेदनशील और अभिव्यक्तिपूर्ण युवाओं को गढ़ सकती है. मैं विद्यालय के प्रयास की सराहना करता हूँ.”
विद्यालय की प्राचार्या, डॉ. जया चौहान ने कहा, “डीपीएस रांची में हम मानते हैं कि मानविकी शिक्षा समग्र विकास की आत्मा है. ‘द-आरोहणस हमारे उन विषयों को समर्पित है जो हमें समाज, शासन, मीडिया और संस्कृति की गहराई से समझ देते हैं. सबसे विशेष बात यह है कि इस पूरे आयोजन की रूपरेखा, संचालन, मीडिया, फोटोग्राफी – सब कुछ हमारे छात्रों द्वारा किया गया है. यह अनुभव न केवल उनमें आत्मविश्वास पैदा करता है, बल्कि उन्हें वास्तविक जीवन के लिए भी तैयार करता है. मैं हर छात्र पर गर्व करती हूँ और हमारे सम्माननीय अतिथि व मार्गदर्शकों का हार्दिक आभार व्यक्त करती हूँ.”
‘द-आरोहण’ की सबसे बड़ी खासियत यह रही कि इसका सम्पूर्ण संचालन छात्रों द्वारा किया गया. योजना से लेकर लॉजिस्टिक्स, मीडिया कवरेज, फोटोग्राफी, वीडियोग्राफी और कंटेंट निर्माण तक – हर जिम्मेदारी को डीपीएस रांची के छात्रों ने कुशलता से निभाया. इस अनुभव ने उनकी नेतृत्व क्षमता, टीम वर्क, संवाद कौशल और समस्या समाधान की योग्यता को निखारा.
2 अगस्त 2025 को समापन समारोह के दौरान सभी विजेताओं को सम्मानित किया जाएगा, जिससे यह उत्सव प्रेरणा और गौरव के साथ संपन्न होगा.
सुजीत सिन्हा, 'समृद्ध झारखंड' की संपादकीय टीम के एक महत्वपूर्ण सदस्य हैं, जहाँ वे "सीनियर टेक्निकल एडिटर" और "न्यूज़ सब-एडिटर" के रूप में कार्यरत हैं। सुजीत झारखण्ड के गिरिडीह के रहने वालें हैं।
'समृद्ध झारखंड' के लिए वे मुख्य रूप से राजनीतिक और वैज्ञानिक हलचलों पर अपनी पैनी नजर रखते हैं और इन विषयों पर अपनी रिपोर्ट प्रस्तुत करते हैं।
