Shashi Tharoor vs Congress: पीएम-सीएम हटाने वाले बिल पर पार्टी में मतभेद
नई दिल्ली: कांग्रेसी नेता और सांसद शशि थरूर ने एक बार फिर कांग्रेस पार्टी लाइन से अलग राय रखी है। इस बार मुद्दा है संविधान संशोधन विधेयक (130वां संशोधन) 2025 का, जिसमें प्रस्ताव है कि अगर प्रधानमंत्री या मुख्यमंत्री को दोषी पाए जाने के बाद न्यायालय 30 दिन जेल की सजा देता है, तो उन्हें 31वें दिन अपने पद से इस्तीफा देना होगा या हटा दिया जाएगा।
पार्टी में मतभेद

थरूर के कांग्रेस से रिश्ते
शशि थरूर पार्टी के भीतर सहयोग और अन्य मतों के लिए जाने जाते रहे हैं। 2021 में उन्होंने पार्टी अध्यक्ष पद के चुनाव में भाग लिया था और लगातार कांग्रेस नेतृत्व से खुलकर अलग राय रखते आए हैं। शशि थरूर का पक्ष है कि 'मेरे पीएम और सीएम को हटाने का समर्थन नहीं है, अगर इस बिल में पार्टी लाइन से हटना होगा तो मैं पार्टी में अपनी स्थिति पर दोबारा सोचूंगा।'
केंद्र सरकार की ऑनलाइन गेमिंग नीति पर हमला
थरूर ने मौजूदा सरकार की ऑनलाइन गेमिंग नीति की भी आलोचना की। उन्होंने कहा कि केंद्र सरकार का नियंत्रणवादी रवैया ऑनलाइन गेमिंग उद्योग की स्वतंत्रता कम करता है। इससे पहले उन्होंने 2018 में भी सरकार के इसी कदम की आलोचना की थी।
शशि थरूर ने एक बार फिर अपनी अलग पहचान दिखाते हुए संविधान संशोधन विधेयक पर कांग्रेस पार्टी से अलग राय रखी है। इसका असर आगामी राजनीति और पार्टी के भीतर समीकरणों पर साफ दिख सकता है।
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