दुमका: तसर उत्पादकों के प्रमंडल स्तरीय कार्यशाला सह सम्मान समारोह का आयोजन, हेमंत भी रहे मौजूद

दुमका: तसर उत्पादकों के प्रमंडल स्तरीय कार्यशाला सह सम्मान समारोह का आयोजन, हेमंत भी रहे मौजूद

दुमका: जिले के इंडोर स्टेडियम में सोमवार को तसर उत्पादकों के प्रमंडल स्तरीय कार्यशाला सह सम्मान समारोह का आयोजन किया गया। समारोह का आयोजन उद्योग विभाग के हस्तकरघा रेशम एवं हस्तशिल्प निदेशालय द्वारा किया गया। इस अवसर पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन भी मौजूद थे।

कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा रेशम के क्षेत्र में झारखंड, विशेषकर संथाल परगना की एक अलग पहचान है। पूरे राज्य में रेशम की सबसे अधिक खेती दुमका जिले में होती है। इस पहचान को बरकरार रखने की जरूरत है। विभाग बेहतर ढंग से कार्य योजना तैयार करें। ताकि रेशम से जुड़े लोगों की आय में वृद्धि हो सके तथा स्वरोजगार के बेहतर अवसर प्रदान किए जा सके। सीएम ने यह भी कहा कि उत्पादकता में तेजी लाने के लिए नए तकनीक को अपनाना होगा। जिस रेशम के धागे को निकालने में महीनों का वक्त लग जाता था, वही धागा मशीनों की मदद से मिनटों में निकाला जा सकता है।

 

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इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि खादी हमारे देश की पहचान है। खादी के परिधानों का तकनीक के माध्यम से निर्माण होने के कारण उसकी मांग बढ़ी है। इसलिए मांग पूरी करने के लिए अपने उत्पादों को बेहतर बनाएं। वहीँ प्रकृति संरक्षण पर मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रकृति की व्यवस्था को बेहतर प्रबंधन की आवश्यकता है, तभी हमें उसका लाभ मिलेगा। पूर्व में इस क्षेत्र में बड़ी संख्या में काजू के वृक्ष पाए जाते थे, जो कि अब ना के बराबर ही दिखाई देते हैं। हमने सारे जंगल उजाड़ दिए।

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दुमका उपायुक्त राजेश्वरी बी ने कहा कि रेशम से जुड़े उत्पादन के गुणवत्ता बेहतर हो, इसके लिए कार्य किया जा रहा है। इससे किसानों की आय बढ़ेगी एवं बढ़ती मांगों की पूर्ति की जा सकेगी।

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रेशम उत्पादन के क्षेत्र में बेहतर कार्य करने के लिए सहायक उद्योग निदेशक रेशम संथाल परगना, सुधीर कुमार सिंह को मुख्यमंत्री एवं पदाधिकारी द्वारा प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया गया। कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री हेमन्त सोरेन द्वारा विभागीय कैलेंडर एवं पुस्तिका का विमोचन किया गया। इसके अलावा बेहतर कार्य करने वाले रेशम के किसानों को मुख्यमंत्री द्वारा सम्मानित किया गया।

इस समारोह में संथाल संथाल परगना के आयुक्त भगवानदास, उपायुक्त बी राजेश्वरी, पुलिस अधीक्षक वाईएस रमेश, हथकरघा के निदेशक और आईआईएम लखनऊ के डॉ सी एम मिश्रा समेत कई पदाधिकारी मौजूद थे।

 

Edited By: Samridh Jharkhand

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