राजस्थान : कांग्रेस ने बागी सचिन पायलट व उनके समर्थकों को बाहर का रास्ता दिखाया

राजस्थान : कांग्रेस ने बागी सचिन पायलट व उनके समर्थकों को बाहर का रास्ता दिखाया

जयपुर/नयी दिल्ली :  कांग्रेस ने राजस्थान में बागी तेवर अख्तियार कर चुके सचिन पायलट को पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष पद से हटा दिया. इसके साथ ही उन्हें उपमुख्यमंत्री के पद से भी हटा दिया गया. मुख्मयंत्री अशोक गहलौत ने राज्यपाल कलराज मिश्र से मुलाकात कर सचिन पायलट व उनके समर्थक दो मंत्रियों विश्वेंद्र सिंह और रमेश मीणा को कैबिनेट से बाहर करने की सिफारिश की, जिसे राज्यपाल ने स्वीकार कर लिया.


सचिन पायलट को राजस्थान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पद से हटाते हुए उनकी जगह गोविंद सिंह दोतासारा को प्रदेश अध्यक्ष नियुक्त किया गया. सचिन पायलट मुख्यमंत्री अशोक गहलौत से मतभेद के बाद बागी हो गए थे और कई राष्ट्रीय नेताओं के समझाने पर भी अपने कदम पीछे खींचने को तैयार नहीं थे. उन्हें फोन पर प्रियंका गांधी व पी चिदंबरम ने समझाने की कोशिश की. पार्टी ने लगातार शिकायतें रखने एवं बातचीत करने के लिए उन्हें पार्टी फोरम पर आकर चर्चा करने की पेशकश की.

सचिन पायलट को पद से हटाए जाने के बाद जयपुर में प्रदेश कांग्रेस कार्यालय से उनका नेम प्लेट हटा दिया गया है. वहीं सचिन पायलट ने ट्विटर पर अपना प्रोफाइल बदल लिया है. उप मुख्यमंत्री व प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष की जगह अब उन्होंने अपना परिचय सिर्फ टोंक के विधायक के रूप में दिया है.

यह भी पढ़ें पशुओं की हिंसा के डाटा की जगह जब पशुओं के खिलाफ होने वाली हिंसा का डाटा देने से खत्म होगी दूरियां: चारू खरे

उधर, कांग्रेस महासचिव प्रियंका गांधी पार्टी अध्यक्ष सोनिया गांधी के साथ बदली हुई राजनीतिक परिस्थितियों पर बैठक करने के लिए पहुंची हैं.

यह भी पढ़ें भाजपा हलकान! चुनावी मोड में हेमंत सरकार! ताबड़तोड़ फैसले और उपहारों की बौछार

सचिन पायलट व उनके समर्थकों को कैबिनेट से बाहर करने के बाद अशोक गहलौत ने कहा है कि यह सब भाजपा के कारण हो रहा है, सचिन पायलट के हाथ में कुछ नहीं है.

अशोक गहलौत ने कहा कि हमें यह कार्रवाई करके खुशी नहीं है, लेकिन तीन-छह महीने से उनके रवैये से मजबूत होकर ऐसा करना पड़ा. उन्होंने कहा कि सचिन पायलट के हाथ में कुछ नहीं है. बीजेपी पूरा खेल कर रही है. भाजपा सबकुछ मैनेज कर रही है. उसी टीम ने ऐसा मध्यप्रदेश में किया और अब यहां कर रही है. उन्होंने कहा कि हाइकमान ने मजबूर होकर यह फैसला लिया और वे लोग हार्स ट्रेडिंग में लगे थे. उन्होंने कहा कि इसके पीछे बड़ी साजिश थी और इसकी वजह से हमारे कुछ साथी भटक गए और दिल्ली चले गए.

मुख्यमंत्री अशोक गहलौत ने कहा कि जितने विधायक जीत कर आए चाहे वे किसी गुट के हों हमने सबके काम किए, किसी के साथ भेदभाव नहीं किया. उन्होंने कहा कि हमने शिकायतें सुनने की भी पेशकश की लेकिन ये मानने को तैयार नहीं थे. मालूम हो कि गहलौत ने 200 सदस्यों वाली राजस्थान विधानसभा में 109 विधायकों के समर्थन का दावा किया है.

Edited By: Samridh Jharkhand

Latest News

झारखंड से पति और पत्नी की सरकार हटाकर डबल इंजन सरकार बनानी है: बाबूलाल मरांडी झारखंड से पति और पत्नी की सरकार हटाकर डबल इंजन सरकार बनानी है: बाबूलाल मरांडी
राहुल गांधी की टीम द्वारा टेक्सास में पत्रकार के साथ बदसलूकी घटना की एनयूजे ने की कड़ी निंदा
चाईबासा: जिप सदस्य जॉन मिरन मुंजा ने जर्जर NH 57 का उठाया मुद्दा, कहा- सड़क निर्माण के नाम पर हुई लूट 
बोकारो : विस्थापितों की समस्या को लेकर झारखंड कोलियरी कामगार यूनियन ने बीएण्डके महाप्रबंधक के संग की बैठक
बोकारो: बेरमो डीएसपी ने अपराध समीक्षा बैठक के दौरान त्योहार को लेकर दिए कई निर्देश 
कोडरमा में रोटरी क्लब ने ग्रामीणों के बीच 250 पौधों का किया वितरण
पशुओं की हिंसा के डाटा की जगह जब पशुओं के खिलाफ होने वाली हिंसा का डाटा देने से खत्म होगी दूरियां: चारू खरे
44 करोड़ में बनाइए और 52 करोड़ में तुड़वाइये, यही है विश्व गुरु का विकास मॉडल: झामुमो
झारखंड में बांग्लादेशी घुसपैठ और धर्मातरण: हकीकत या चुनावी एजेंडा
कोडरमा के पपरौंन स्कूल मैदान में घटवार आदिवासी महासभा की ओर से करमा महोत्सव का आयोजन
संविधान की आठवीं अनूसूची में "हो" भाषा को शामिल करने की मांग को लेकर दिल्ली के जंतर-मंतर पर धरना प्रर्दशन
सीएम हेमंत के विधानसभा क्षेत्र का गांव बड़ा पत्थरचट्टी, भारी बरसात में पानी की जंग