#GorundReport कोरोना काल में गरीब परिवारों का हाल बुरा, कुली का काम करने वाला शख्स बेरोजगार, गुजारा मुश्किल
रांची : कोरोना वायरस ने हमारे जीवन में कुछ महीनों पहले ही दस्तक दिया है। मगर इस महामारी की मार गरीब परिवार पर कैसी पड़ी है, दूर से इसका अंदाज़ा लगाना भी बहुत मुश्किल है। देश भर में लोग कोरोना वायरस से बीमार पड़ रहे हैं, लेकिन एक गरीब परिवार के लिए यह वक़्त दोहरा संकट लेकर आया है।

इस तस्वीर को देखकर आपको यह ज़रूर समझ आ रहा होगा कि यह परिवार किस तरह की तकलीफ में हो सकता है। इस परिवार के घर का मुख्य दरवाज़ा थर्माकॉल से बनाया हुआ है या फिर यह कहना सही होगा कि इस परिवार ने जुगाड़ लगा कर थर्माकॉल का दरवाज़ा लगाया है। परिवार की हालत कोरोना महामारी आने से पहली भी बुरी ही थी। मगर महामारी आने के बाद परिवार के हालात बद से बदतर हो गए हैं। इस परिवार में माता-पिता और उनके तीन बच्चे रहते हैं।
परिवार के हालात जानने के लिए हमने उनसे बात कि तो उन्होंने बताया उनके पति फिलहाल कोई काम नहीं करते हैं। घर जैसे-तैसे चल रहा है। उनके पति कुली का काम कर रहे थे, मगर कोरोना काल के इस दौर में काम मिलना भी मुश्किल हो गया है। इंदिरा आवास योजना को लेकर बात हुई तो उन्होंने कहा कि फॉर्म भरने के बाद भी यह सुविधा उपलब्ध नहीं हो पायी है। आगे उन्होंने बताया कि मुखिया उनके अपने रिश्तेदार हैं। फिर भी यह लोग इस सुविधा से अब तक वंचित हैं।
बता दें कि यह परिवार शुरू से ही इस घर में रह रहा है। शायद घर की आदत तो हो गई है, लेकिन तकलीफे बढ़ गयी हैं। इंदिरा आवास योजना के तहत घर की सुविधा भी इन्हें अब तक नहीं मिल पायी है। पूरी दुनिया कोरोना वायरस से जूझ रही है, वहीं गरीब लोगों की यह अग्निपरीक्षा दोगुनी हो गयी है। यह स्थिति रांची से केवल 15 किमी दूर स्थित सिद्रौल की है, अब आप इस परिवार की दशा देख कर यह अंदाज़ा लगा सकते हैं कि सुदूरवर्ती गांवों में कैसे हालात होंगे। ऐसे कितने परिवार इस दर्द और तकलीफ से गुज़र रहे होंगे कि जिनके लिए दो वक्त की रोटी भी जुटाना मुश्किल हो रहा होगा।
